हस्ताक्षर न्यूज. जमीन खरीदी के लिए तय नई कलेक्टर गाइडलाइन दरों के कारण पूरे राज्य में मचे बवाल के बीच सीएम विष्णुदेव साय का अहम बयान आ गया है। मीडिया से बातचीत में सीएम साय ने कहा कि सरकार लोगों की परेशानी को समझ रही है। जरूरत पड़ने पर दरों में संशोधन करने से पीछे नहीं हटेगी।
उनके मुताबिक गाइडलाइन को लेकर विभागीय स्तर पर मंथन जारी है। किसी पर भी अनावश्यक बोझ डालने का इरादा नहीं है। सीएम ने कहा कि 2017 के बाद पहली बार गाइडलाइन दरों में बड़ा बदलाव किया गया है। नियमों के मुताबिक हर साल संशोधन होना चाहिए। सीएम ने यह भी कहा कि बढ़ी हुई दरों के कुछ सकारात्मक पहलू हैं, लेकिन वे अभी आम लोगों तक स्पष्ट रूप से नहीं पहुंच पाए हैं। इसके बावजूद, यदि नई दरों से जनता को दिक्कत हो रही है तो सरकार राहत देने के विकल्पों पर विचार करेगी।
- प्रदेश में गाइडलाइन दरों के खिलाफ बढ़ते विरोध को देखते हुए अब माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में सरकार कोई राहतभरा फैसला ले सकती है। फिलहाल, यह मुद्दा छत्तीसगढ़ की राजनीति में सबसे बड़ी बहस बन चुका है। बता दें कि बढ़ाई गई गाइडलाइन दरों का हर स्तर पर विरोध हुआ है। दिग्गज भाजपा नेता और सांसद बृजमोहन अग्रवाल भी सीएम साय को चिट्ठी लिखकर गाइडलाइन दरों में वृद्धि को अव्यावहारिक बताते हुए इसे वापस लेने का आग्रह किया था। दरअसल कई जिलों में दरों में 100 फीसदी तक बढ़ोतरी दर्ज की गई, जबकि कुछ इलाकों में यह उछाल 800 फीसदी तक पहुंच गया। अचानक हुई इस बढ़ोतरी से आम लोग, व्यापारी और किसान खुलकर विरोध कर रहे हैं। विपक्ष भी लगातार सरकार पर दबाव बढ़ा रहा है।

























