दिल्ली: एशिया कप क्रिकेट की शनिवार से यहां शुरुआत होने जा रही है। इस टूर्नामेंट में 15 दिन के अंदर 13 मैच खेले जाएंगे। पहले दोनों ग्रुप में टीमें दो-दो मैच खेलेंगी और सबसे नीचे रहने वाली टीम बाहर हो जाएगी। इसके बाद सुपर चार के मुकाबले शुरू होंगे और यहां बेहतर प्रदर्शन करने वाली दो टीमें फाइनल में जगह बनाएंगी। पहला मुकाबला शनिवार को श्रीलंका और अफगानिस्तान के बीच ग्रुप बी में खेला जाएगा। अफगानिस्तान ने अपने पिछले पांच टी-20 अंतरराष्ट्रीय मुकाबलों में से तीन में जीत दर्ज की है। दूसरी ओर श्रीलंका को अपने पिछले पांच में से चार में हार मिली है।
अगर क्वालिफायर हांगकांग को छोड़ दें तो बाकी पांच टीमें सात बार की चैंपियन भारत, पाकिस्तान, श्रीलंका, अफगानिस्तान और बांग्लादेश खास दिन प्रतिद्वंद्वी टीम को मात देने में सक्षम हैं। छह साल के बाद यह टूर्नामेंट टी-20 प्रारूप में हो रहा है। पहले इसका आयोजन श्रीलंका में होना था लेकिन आर्थिक संकट के चलते उसने मेजबानी से हाथ पीछे खींच लिए थे।
बेशक, यूएई में हालात वैसे नहीं होंगे जैसे अक्तूबर-नवंबर में टी-20 विश्वकप में ऑस्ट्रेलिया में होने हैं लेकिन हुए टीमों के पास इस प्रारूप में अपनी तैयारियों का जायजा लेने और टीम संयोजन तय करने का भी मौका होगा। ऐसे में कड़ी टक्कर देखने को मिल सकती है। फिर टी-20 की अनिश्चितता इसके रोमांच को और परवान चढ़ाएगी।
सात बार की चैंपियन है भारतीय टीम
भारतीय टीम का पहला मुकाबला 28 अगस्त को चिर-प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान के साथ खेलना है। सभी निगाह विराट कोहली पर होगी, जो फॉर्म में लौटने को बेताब होंगे। कप्तान रोहित शर्मा और केएल राहुल के प्रदर्शन पर भी फोकस रहेगा। इस टूर्नामेंट में तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह की भारतीय टीम को कमी खल सकती है।
दस साल से नहीं जीता है पाक ने खिताब
पिछले 12 महीनों में पाकिस्तान ने एक टीम के रूप में अच्छा प्रदर्शन किया है। टीम ने पिछला खिताब दस साल पहले जीता था, जब यह वनडे प्रारूप (50-50 ओवरों) में खेला गया। टीम को तेज गेंदबाज शाहीन शाह अफरीदी की कमी खल सकती है जो घुटने की चोट के कारण हिस्सा नहीं ले रहे हैं। टीम कप्तान बाबर आजम और मोहम्मद रिजवान की सलामी जोड़ी पर ज्यादा निर्भर कर रही है। मध्यक्रम में अनुभव की कमी है।
छुपारुस्तम हो सकता है अफगानिस्तान
अफगानिस्तान की कप्तानी मोहम्मद नबी कर रहे हैं। टीम में अपने से बेहतर रैंकिग की टीमों को हराने का हुनर है। स्पिनर राशिद खान उनका तुरुप का पत्ता साबित हो सकते हैं। बल्लेबाजी में अफगास्तिान को बेहतर करने की जरूरत है।
श्रीलंका के लिए मुश्किलों के बीच मौका
श्रीलंका टीम अपने नए कोच क्रिस सिल्वरवुड के मार्गदर्शन में उतरेगी। टीम में प्रतिभाओं की कमी नहीं है। उनके पास मौका है जो आर्थिक संकट से जूझ रहे अपने देश के लोगों के चेहरे पर मुस्कराहट लौटा सकते हैं।
बांग्लादेश के लिए बड़ी चुनौती
बांग्लादेश की टीम सबसे छोटे प्रारूप में विश्वकप के बाद से ही संघर्ष कर रही है। ऑलराउंडर शाकिब अल हसन के रूप में टीम के लिए चुनौती बड़ी है। भारत के पूर्व क्रिकेटर एस श्रीराम उनके तकनीकी सलाहकार बने हैं, जिन्हें ऑस्ट्रेलियाई टीम के साथ स्पिन कोच का अनुभव भी रहा है।
चौथी बार हिस्सा लेगा हांगकांग
क्वालिफायर टीम हांगकांग ने चौथी बार एशिया कप में हिस्सा ले रही है। ओमान में हुए क्वालिफायर में उसने संयुक्त अरब अमीरात को हराकर टिकट हासिल किया है। इस टीम को भारत और पाकिस्तान के मुश्किल ग्रुप में रखा गया है।
ग्रुप ए : भारत, पाकिस्तान और हांगकांग।
ग्रुप बी : श्रीलंका, बांग्लादेश और अफगानिस्तान।