जम्मू कश्मीर के कुलगाम में आतंकियों से मुठभेड़ में 3 जवान शहीद हो गए. आतंकियों के खिलाफ सेना का सर्च ऑपरेशन जारी है. आतंकी संगठन पीएएफएफ ने इसकी जिम्मेदारी ली है और इसे अनुच्छेद 370 खत्म करने का बदला बताया है. पीएएफएफ ने एक बयान जारी कर कहा है कि संघी सरकार के अवैध तरीके से अनुच्छेद 370 खत्म करने की पूर्व संध्या पर हमारे लड़ाकों ने हमला किया है.
कुलगाम जिले के हलान वन क्षेत्र के ऊंचे इलाकों में आतंकियों के होने की सूचना पर सेना ने सर्च अभियान चलाया था, जिसमें कुलगाम पुलिस भी शामिल थी. अभियान के दौरान शुक्रवार (4 अगस्त) शाम को आतंकियों से जवानों की मुठभेड़ हुई थी, जिसमें 3 जवान घायल हुए थे. घायल जवानों को इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया था, जहां देर रात उनकी मौत हो गई.
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटने के 4 साल पूरे
आतंकियों से जवानों की मुठभेड़ ऐसे समय में हो रही है, जब आज 5 अगस्त को जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के 4 साल पूरे हो रहे हैं. इस मौके पर बीजेपी ने श्रीनगर में विजय मार्च निकालने का ऐलान किया है. सुबह 9.30 बजे नेहरू पार्क से शुरू होकर ये विजय मार्च शेर-ए-कश्मीर इंटरनेशन कॉन्फ्रेंस सेंटर तक जाएगा. वहीं, एहतियात के तौर पर शनिवार (5 अगस्त) को अमरनाथ यात्रा को स्थगित किया गया है.
लापता हुआ था सेना का जवान
कुलगाम से ही बीती 29 जुलाई को भारतीय सेना का जवान जावेद अहमद वानी लापता हो गया था. वानी 29 जुलाई को छुट्टी पर अपने घर आया था और उसी शाम को वो लापता हो गया. जवान जिस कार से घर से निकला था, वह सड़क किनारे बरामद की गई थी. उसमें खून के निशान भी मिले थे. जवान के परिजनों ने दावा किया था कि उसे अगवा कर लिया गया है.
लापता जवान की तलाश के लिए सेना और पुलिस ने बड़े पैमाने पर सर्च अभियान शुरू किया था. 5 दिनों के बाद 3 अगस्त को वानी को पुलिस की टीम ने ढूढ़ निकाला था. जवान के मिलने की सूचना देते हुए एडीजीपी कश्मीर ने कहा था कि मेडिकल जांच के बाद उससे पूछताछ की जाएगी. इस पूछताछ में सेना और पुलिस दोनों के अधिकारी शामिल होंगे.